Chand Ke Ansu (Kahani Sangrah) INR 120.00
Book summary
प्रस्तुत उपन्यास में यथार्थ से जुड़ी एक पलायनकर्त्ता परिवार की अवस्था और उससे जुड़ी पारिवारिक परिस्थितियां, विशेष कर नारी उत्पीड़न को सशक्त शब्दों के माध्यम से व्यक्त किया गया है।नारी की दुर्गति का उपचार अभी तक सम्भव नहीं हो सका है। मानव का अहम् उसके विनाश का कारण बन गया है। मानव दूसरे मानव को समझ पाने में असमर्थ है। मानव मूल्यों की धज्जियां उड़ती दिखाई देती हैं। बाप-बेटा, सास-बहू, भाई-बहन के रिश्ते अकारण बिखर रहे हैं। समाज का यह माहौल 'चांद के आंसू' उपन्यास की पृष्ठभूमि है।